क्या ज्योतिष द्वारा जीवन काल का अनुमान संभव है?
ज्योतिष एक प्राचीन विद्या है, जिसका उपयोग विभिन्न जीवन समस्याओं को सुलझाने और भविष्य का पूर्वानुमान लगाने के लिए किया जाता है। कई लोग यह जानना चाहते हैं कि क्या ज्योतिष का उपयोग करके जीवन काल को जानें संभव है। इस ब्लॉग में, हम इस प्रश्न का उत्तर खोजेंगे और समझेंगे कि ज्योतिष द्वारा जीवन काल का अनुमान कैसे लगाया जा सकता है। 1. ज्योतिष का सिद्धांत और जीवन काल की गणना ज्योतिष का आधार ग्रहों की स्थिति और उनके प्रभावों पर है। हमारे जन्म के समय ग्रहों की स्थिति का अध्ययन करने के लिए कुंडली (kundali) या जन्म कुंडली (birth chart) बनाई जाती है। ज्योतिषी ग्रहों और नक्षत्रों की स्थिति के आधार पर हमारे जीवन के महत्वपूर्ण पहलुओं का अनुमान लगाते हैं, जिसमें हमारे स्वास्थ्य, करियर, संबंध, और यहां तक कि जीवन काल भी शामिल हैं। ज्योतिष द्वारा जीवन काल की गणना का सिद्धांत ‘आयु निर्धारण’ के नियमों पर आधारित है। इन नियमों में ग्रहों की दशा, योग, और उनके प्रभाव का विश्लेषण करके यह समझा जाता है कि किसी व्यक्ति की जीवन अवधि कैसी होगी। 2. कुंडली के माध्यम से जीवन काल का अध्ययन कुंडली में आठवां और बारहवां