जन्म तिथि के अनुसार संतान प्राप्ति का सर्वोत्तम समय: ज्योतिषीय विश्लेषण
संतान की योजना बनाना केवल भावनात्मक निर्णय नहीं , बल्कि जीवन की सबसे जिम्मेदार योजनाओं में से एक होता है। चिकित्सकीय तैयारी के साथ – साथ सही समय का चयन भी उतना ही महत्वपूर्ण होता है। वैदिक ज्योतिष में जन्म तिथि के अनुसार संतान प्राप्ति का सर्वोत्तम समय ग्रहों की स्थिति , दशा और गोचर के आधार पर तय किया जाता है। संतान ज्योतिष का उद्देश्य अनुमान लगाना नहीं , बल्कि ऐसे समय की पहचान करना है जब प्रकृति और ग्रह दोनों गर्भधारण के पक्ष में हों। इससे अनावश्यक विलंब , मानसिक तनाव और असफल प्रयासों से बचा जा सकता है। ज्योतिष में संतान प्राप्ति का सही समय कैसे तय होता है संतान ज्योतिष में पति – पत्नी दोनों की जन्म कुंडली का विश्लेषण किया जाता है। केवल एक कुंडली के आधार पर निष्कर्ष निकालना अधूरा माना जाता है। मुख्य रूप से इन बिंदुओं को देखा जाता है : पंचम भाव , जो संतान का प्रमुख कारक होता है गुरु , जो वृद्धि और संतान सुख का प्रतिनिधि ग्रह है चंद्रमा , जो गर्...